नहीं रुकना कभी भी राहों में,
तेरी मंजिल अभी भी दूर है,
नहीं सुनना बातें दुनिया की,
तुझे रोकने को मजबूर है,
तू अथक परिश्रम करता है,
ये इससे देखा जाता नहीं,
कहती है कि ये साथ में है,
पर करनी इसकी और कहीं,
करना वो जो मन में आये,
चाहे कहे कोई की गलत है ये,
करना तुम भरोसा खुद पे ही,
जब घडी फैसले की आये,
पाओगे मंजिल खुद से ही,
दुनिया का यही उसूल है,
नहीं रुकना कभी भी राहों में,
तेरी मंजिल अभी भी दूर है।
तेरी मंजिल अभी भी दूर है,
नहीं सुनना बातें दुनिया की,
तुझे रोकने को मजबूर है,
तू अथक परिश्रम करता है,
ये इससे देखा जाता नहीं,
कहती है कि ये साथ में है,
पर करनी इसकी और कहीं,
करना वो जो मन में आये,
चाहे कहे कोई की गलत है ये,
करना तुम भरोसा खुद पे ही,
जब घडी फैसले की आये,
पाओगे मंजिल खुद से ही,
दुनिया का यही उसूल है,
नहीं रुकना कभी भी राहों में,
तेरी मंजिल अभी भी दूर है।